इन्वेस्ट समिट सिरोही 2022
आबूरोड। सिरोही आने वाले समय मे बहुत बडा स्टील हब बनकर उभरेगा। आबूरोड के सन होटल एण्ड रिसोर्ट में इन्वेस्ट समिट सिरोही 2022 का आयोजन प्रभारी मंत्री एवं राजस्थान विधानसभा के उप मुख्य सचेतक महेन्द्र चौधरी के मुख्य आतिथ्य में, लोकसभा सांसद देवजी एम. पटेल की अध्यक्षता में एवं आबू-पिण्डवाडा विधायक समाराम गरासिया, रेवदर विधायक जगसीराम कोली, जिला कलक्टर भगवती प्रसाद, जिला पुलिस अधीक्षक धर्मेन्द्र सिंह यादव, आबूपर्वत के उपखण्ड अधिकारी कनिष्क कटारिया, उद्योग एवं वाणिज्य विभाग के अतिरिक्त निदेशक वाई.एन. माथुर एवं रीको के उपमहाप्रबंधक तरूण जैन के सानिध्य में हुआ।
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इस समारोह में प्रभारी मंत्री एवं राजस्थान विधानसभा के उप मुख्य सचेतक महेन्द्र चौधरी ने कहा कि राजस्थान प्रदेश के यशस्वी मुख्यमंत्री अशोक गहलोत साहब ने प्रदेश के औद्योगिक विकास को तीव्र गति एवं प्रोत्साहन देने के लिए, अनुभव किया कि हमारे राज्य के जो निवेशक राज्य एवं राज्य से बाहर अपनी पूंजी निवेश करते हैं। उन्हे राजस्थान में उद्योग लगाने हेतु प्रोत्साहन देकर, हमारे राज्य की ओर आकर्षित किया जाए, जिससे नए उद्योग लगे एवं पुराने उद्योगो का भी विकास हो सकें। साथ ही राजस्थान में बेरोजगारों को रोजगार के स्वर्णिम अवसर मिले तथा युवाओं का तकनीकी एवं कौशल उन्नयन एवं प्रदेश का औद्योगिक विकास हो सकें। पिछले कुछ वर्षो में कोविड-19 परिस्थितियों के कारण राज्य के औद्योगिक एवं आर्थिक विकास में बाधा उत्पन्न हुई है जिससे, इस कडी में राज्य सरकार द्वारा जिला प्रशासन, जिला उद्योग एवं वाणिज्य केन्द्र तथा रीको की कई योजनाओं के माध्यम से उद्योगों को राहत देने का प्रयास किया जा रहा हैं।
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इस क्रम में आज दिनांक 10 जनवरी को सिरोही जिले में इन्वेस्टमेंट समिट का आयोजन किया जा रहा है जो कि इस जिले के समस्त उद्योगों एवं नागरिकों लिए खुशी का विषय है। जिले के औद्योगिक परिदृश्य में यहां 9 मध्यम एवं वृहद औद्योगिक इकाईयां कार्यरत है। जिसमें 3634 करोड का निवेश है व 11964 श्रमिक काम कर रहे है। सूक्ष्म एवं लघु उद्योग की 9845 इकाईयां पंजीकृत है जिनमें 276.64 करोड का निवेश है तथा 40887 श्रमिक काम कर रहे हैं। जिले में टेक्सटाईल, सीमेन्ट, एडिबल आॅइल, मार्बल स्लेब्स एवं टाईल्स, स्टोन आर्ट-वेयर, बांस उत्पाद, लकडी फर्नीचर, फुड प्रोडक्ट्स, मेटल प्रोडक्ट, ट्रांसपोर्ट उपकरण आदि की इकाईया उत्पादनरत हैं। जिले में औद्योगिक क्षेत्र व ग्रामीण क्षेत्र में हस्तशिल्प आदि का कार्य बहुतायत मात्रा में हो रहा है जिसकी मांग विदेशो में भी है। यहाँ पर पपीता, टमाटर, सौंफ, अरण्डी, मुंगफली एवं रायडा आदि की फसल की पैदावार काफी मात्रा में होती है। जिस कारण जिले की खाद्य तेल की लगभग 60-70 इकाईया उत्पादनरत है। इस जिलें के आबूरोड औद्योगिक क्षेत्र मे स्टील उत्पाद की करीबन 80 इकाईया स्थापित है। इनको देखकर अन्य जिले एवं राज्यो के उद्यमी सिरोही जिले में अपना नवीन उद्योग स्थापित करने हेतु कदम उठा रहे है, जिस कारण सिरोही आने वाले समय मे बहुत बडा स्टील हब बनकर उभरेगा। इस जिले में वाटेरा व भावरी ग्राम की राजस्व भूमि रेलवे विभाग को आवश्यकतानुसार सूखा बंदरगाह तैयार करने हेतु सुपूर्द कर दी गई है एवं वहां पर सुखा बंदरगाह (प्रस्तावित) पर कार्य आरम्भ हो रहा है। निकट भविष्य मे इस जिले मे उद्यमियों को इस सुविधा का लाभ मिल सकेगा। उद्यमियों की सुविधा हेतु कस्टम फ्रेट स्टेशन – उदयपुर हैै जो कि उद्यमियों के लिये सुविधाजनक है।इस जिलें मे रीको द्वारा अब तक 14 औद्योगिक क्षेत्र है इनमें से 4 रीको ओैद्योगिक क्षेत्र विकसित किये जा रहे है। ग्राम बडगांव (शिवगंज) मे नये औद्योगिक क्षेत्र ‘‘इमीटेशन ज्वैलरी‘‘ के लिये बनाया गया है। ग्राम उडवारिया के रीको औद्योगिक क्षेत्र मे एलपीजी रिफिलिंग प्लान्ट अण्डर प्रोसेस में चल रहा है। ग्राम पिपेला, रोहिडा तह. पिण्डवाडा मे औद्योगिक क्षेत्र को विकसित करने की कार्यवाही प्रकियाधीन है। इसी कडी मे मुख्यमंत्री बजट घोषणा मे ग्राम गोल (सिरोही) व मालगाव (रेवदर) में भी नवीन औद्योगिक क्षेत्रों के आवंटन की कार्यवाही प्रकियााधीन है। एमएसएमई इकाईयों के पंजीयन हेतु उद्यम रजिस्ट्रेशन की सुविधा प्रदान की जा रही है। जिले के उद्यमियों को उद्यम स्थापना की सलाह एवं जानकारी प्रदान करने हेतु एमएसएमई फेसिलियेशन सेंन्टर जिला उद्योग केन्द्र में स्थापित किया गया है।
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उन्होने कहा कि राज्य सरकार द्वारा उद्योगों को प्रोत्साहन देने हेतु कई योजनाएं लागू की है, जिनमें मुख्य रूप से राजस्थान निवेश प्रोत्साहन योजना 2019 के तहत स्टाम्प ड्यूटी में छूट, भू संपरिवर्तन शुल्क में छूट, विद्युत शुल्क में छूट, भू कर में छूट, मंडी कर में छूट में 100 प्रतिशत छूट 7 वर्षो के लिए एवं रोजगार सृजन अनुदान जिसे श्रमिको के ईपीएफ/ईएसआई के नियोक्ता के अंशदान का न्यूनतम 50 प्रतिशत पुर्नभरण के रूप में दिया जा रहा है। राजस्थान औद्योगिक विकास नीति 2019 की घोषणा की गई जिसमें अनुकूल औद्योगिक आधारभूत सरंचना, प्रतियोगात्मक राजकोषिय प्रोत्साहन, कुशल मानव संशाधन, संकुलित क्षेत्रीय औद्योगिक विकास को बढावा, उद्यमशीलता एवं नवाचार, पर्यावरण संरक्षण एवं उद्योगों के तकनीकी उन्नयन संबंधी प्रावधान किये गये है। मुख्यमंत्री लघु उद्योग प्रोत्साहन योजना के तहत विनिर्माण सेवा एवं व्यापारिक क्षेत्र की इकाईयों की स्थापना एवं विस्तार आदि के लिए 10 करोड रूपये तक के ऋण पर 5 से 8 प्रतिशत ब्याज अनुदान प्रदान किये जाने का प्रावधान है। एमएसएमई अधिनियम 2019 के तहत नवीन सुक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यमों को प्रारम्भिक 3 वर्षो में राज्य के विभिन्न नियमों के अधीन दी जाने वाली स्वीकृतियों एवं संबधित निरीक्षणों से मुक्त रखने का प्रावधान किया गया है। विवाद एवं शिकायत निवारण तंत्र के तहत उद्यमियों की समस्याओं के समाधान तथा उनके सुझावों को राजकीय नीतियों में समाविष्ट करने हेतु द्विस्तरीय संरचना निर्मित की गई है जिसमे राज्य स्तर पर मुख्य सचिव की अध्यक्षता मे एवं जिला स्तर पर जिला कलक्टर की अध्यक्षता मे जिला स्तरीय समिति का गठन किया गया है। राजस्थान सूक्ष्म लघु उद्यम सुविधा परिषद् के माध्यम से उद्यमों का विलम्बित भुगतान के निस्तारण का कार्य किया जा रहा है वर्तमान मे 2 राज्य स्तरीय एवं 7 संभाग स्तरीय सुविधा परिषदों का गठन किया जाकर, प्रभावी निस्तारण हो रहा है। राज्य से निर्यात को प्रोत्साहन करने हेतु राजस्थान निर्यात संवर्द्धन परिषद एवं जिला स्तरीय निर्यात संवर्द्धन परिषद का गठन किया गया है। उद्योग विभाग द्वारा निर्यात पुरस्कार भी प्रदान किये जा रहे है। कलस्टर विकास कार्यक्रम के तहत केन्द्र सरकार की एमएसई-सीडीपी योजनान्तर्गत सूक्ष्म एवं लघु उद्यमियों के सामूहिक आवश्यकताओं की पूर्ति एवं समस्याओं के निराकरण हेतु काॅमन फेसिलिटेशन सेन्टर्स स्थापित कराने की व्यवस्था है जिसमें 20 करोड रूपये तक के प्रोजेक्ट मे उद्यमियों की एसपीवी को मात्र 10 प्रतिशत से 30 प्रतिशत तक का अंशदान देना है। राज्य स्तर पर इन्वेस्ट राजस्थान समिट का आयोजन किया जाना प्रस्तावित है जिसमें जिले के सभी प्रबुद्ध निवेशक आमंत्रित है। इन्वेस्ट राजस्थान की मुख्य थीम मे शामिल दो शब्दों ‘‘कमिटेड एण्ड डिलीवर्ड‘‘ को लेकर सरकार पूर्ण मनोयोग से कार्य कर रही है। राज्य स्तरीय आयोजन में एमएसएमई पॉलिसी की घोषणा की जाएगी जिससे की एमएसएमई सेक्टर की समस्याओं का निराकरण हो सके। आप और हम मिलकर राज्य और राष्ट्र को उन्नत बनाएंगे।
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इस मौके पर प्रदेश उद्योग मंत्री श्रीमति शकुन्तला रावत ने वर्चुअल जुडते हुए कहा कि राजस्थान प्रदेश के यशस्वी मुख्यमंत्री अशोक गहलोत साहब ने प्रदेश के औद्योगिक विकास को तीव्र गति एवं प्रोत्साहन देने के लिए, अनुभव किया कि हमारे राज्य के जो निवेशक राज्य एवं राज्य से बाहर अपनी पूंजी निवेश करते है, उन्हे राजस्थान में उद्योग लगाने हेतु प्रोत्साहन देकर, हमारे राज्य की ओर आकर्षित किया जाए, जिससे नए उद्योग लगे एवं पुराने उद्योगो का भी विकास हो सके। साथ ही राजस्थान में बेरोजगारो को रोजगार के स्वर्णिम अवसर मिले तथा युवाओं का तकनीकी एवं कौशल उन्नयन एवं प्रदेश का औद्योगिक विकास हो सके। पिछले कुछ वर्षो में कोविड-19 परिस्थितियों के कारण राज्य के औद्योगिक एवं आर्थिक विकास में बाधा उत्पन्न हुई है जिससे, इस कडी में राज्य सरकार द्वारा जिला प्रशासन, जिला उद्योग एवं वाणिज्य केन्द्र तथा रीको की कई योजनाओं के माध्यम से उद्योगों को राहत देने का प्रयास किया जा रहा है। इस क्रम में आज दिनांक 10 जनवरी को सिरोही जिले में इन्वेस्मेंट समिट का आयोजन किया जा रहा है जो कि इस जिले के समस्त उद्योगों एवं नागरिकों लिए खुशी का विषय है। देवनगरी सिरोही जिले में औद्योगिक विकास के नये आयाम के लिए निगम मुख्यालय रीको द्वारा इकाई कार्यालय की स्थापना वर्ष 1983 मे आबूरोड के अंबाजी औद्योगिक क्षेत्र में की गई थी। रीको कार्यालय आबूरोड की स्थापना से लेकर आज दिनांक तक निगम द्वारा 14 औद्योगिक क्षेत्रों की स्थापना की जा चुकी है जिसमें विकसित औ. क्षेत्र 12 है एवं 2 अविकसित औ. क्षेत्र है। इन औ. क्षेत्र मे यदि दृष्टि डाले तो 2108 औ. क्षेत्र भूखण्डो का नियोजन किया गया, तथा जिसमें सेे 1858 भूखण्डो का अबतक आवंटन नियमानुसार किया जा चूका है। इसी कडी में आबूरोड के अंबाजी अर्बुदा और ग्रोथ सेन्टर प्रथम में प्रमुख रूप से मार्बल व ग्रेनाईट व मिनरल्स उत्पाद से संबंधित इकाईया कार्यरत है। औ. क्षेत्र ग्रोथ सेन्टर द्वितीय चरण में स्टील रोलिंग मिल, स्टील बर्तन उद्योग भी कलस्टर का चयन राज्य सरकार द्वारा किया जा चुका है। मार्बल/ग्रेनाईट पाउडर आधारित उद्योग के साथ शैक्षणिक संस्थागत उद्योग स्थापित है इस तरह देखा जाय तो यहाँ पर स्टील उद्योग का एक हब बन कर उभर आया है।
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यहाँ के स्टील उत्पादन की बिक्री राजस्थान,गुजरात,महाराष्ट्र एवं अन्य जिलों में बहुतायत मात्रा में मांग है जो कि आगे भी इसकी विपुल संभावनाओं के लिए अग्रणी कदम है। जिले के शिवगंज औ. क्षेत्र में मुख्य रूप से खाद्य प्रसंकरण उद्योगों के अन्तर्गत खाद्य तेल विनिर्माण की इकाई का दूसरा हब बनकर तैयार हो चुका है। राज्य सरकार द्वारा खाद्य तेल का कलस्टर भी चयन किया जा चुका है। आबूपर्वत व आबूरोड में होटल उद्योग भी काफी पनप रहा है आगे भी सेवाकार्य उद्योग के रूप में पर्यटन उद्योग का अच्छा कदम है। यहाँ पर काफी पर्यटक आबूपर्वत पर घूमने की दृष्टि से आते रहते है।
इस अवसर पर सांसद देवजी एम. पटेल ने कहा कि राजस्थान और गुजरात ज्यादा दुरी पर नहीं है। गुजरात की तर्ज पर राजस्थान मे औद्योगिक क्षेत्रों का विकास होना चाहिए एवं औद्योगिक समस्याओं का समय पर निस्तारण और कम समय में सरलीकरण होना चाहिए और उद्यमियों को सुलभ सुविधा मुहैया हो सके। उन्होने कहा कि जिले मे कृषि उत्पादन जैसे रायडा,अरण्डी, ग्वार, सौफ इत्यादि का उत्पादन ज्यादा है इस बाबत् यहां पर एग्रो बेस्ड एवं फुड बेस्ड की प्रोसेसिग इकाईयो को बढावा देने के लिये जोर दिया गया। साथ ही औद्योगिक नीति एवं योजनाओं की जानकारी देने के लिए समय-समय पर औद्योगिक शिविर आयोजित करने के लिये कहा। आबूपर्वत, सिरोही जिले में पर्यटन इकाई के रूप में अपनी अलग ही पहचान बना चुका है यहाँ पर होेटल एण्ड रेस्टोरेन्ट सेवा कार्य वाली इकाई लगी हुई है जोे कि विकास में अपनी अग्रणी भूमिका निभारहे हैं । यह जिला रेलमार्ग से भी जुडा हुआ है जो परिवहन का अच्छा मार्ग दर्शाता है। सरकार एवं नये-नये उद्यमियों के साथ मिलकर काम करने से नवीन उद्योग लग सकेंगे एवं बेरोजगारी दूर करने में एवं जिले के विकास में अच्छी भूमिका निभाएंगे।
आबू-पिण्डवाडा विधायक समाराम एवं रेवदर विधायक जगसीराम कोली ने अपने उद्धबोधन में कहा कि जिले में आदिवासी बाहुल्य क्षेत्र होने से स्थानीय उद्योग स्थापित होने से रोजगार के अवसर मिलेगें और हर संभव सहयोग प्रदान होगा। साथ ही रोजगार के लिये आमजन को अन्य जगहो पर पलायन नही करना पडेगा।सरकार की योजनाओं के लाभ के साथ ही इन औद्योगिक क्षेत्रों का फायदा भी मिलेगा और स्थानीय लोगों का खूब फायदा होगा।
इस अवसर पर जिला कलक्टर भगवती प्रसाद ने अपने स्वागत उद्धबोधन मे कहा कि इन्वेस्ट राजस्थान 2022 राज्य सरकार का निवेशको तक पहुंच बनाने का कार्यक्रम है जिसका उदेश्य निवेश प्रस्तावों की मांग करना तथा निवेश के प्रस्तावों को मिशन मोड पर संसाधन उपलब्ध कराकर औद्योगिक विकास को फलित करना है।राज्य के उद्योगों को प्रोत्साहन एवं गति देने के लिए आज हम 10 जनवरी 2022 को जिला इन्वेस्टमेंट समिट का आयोजन सन होटल एण्ड रिसॉर्ट आबूरोड में कर रहे है। इस क्रम में उन्होंने कहा कि मैं आपके साथ व्यापार एवं उद्योग के लिए बनाई गई योजनाओ के विशेष लाभ साझा करना चाहूंगा। पानी, गैस और बिजली की 24*7 आपूर्ति व हरित उर्जा की उपलब्धता। उत्तर और पश्चिमी राज्यो से जोडने वाले एनएच 62 और एनएच 27 सड़क मार्ग उपलब्ध है। जो कि कच्चा माल व तैयार माल का परिवहन सुगमता से पहुंचाने हेतु उपयोगी है। यहाँ पर कुशल एवं प्रशिक्षित कामगारों की उपलब्धता हैं। खनिज प्रधान उत्पाद वोलेस्टोनाईट, सीमेट ग्रेड चूना पत्थर आदि खनिजो की भी यहाँ प्रचुर उपलब्धता है। जिसके कारण खनिज आधारित उद्योगों हेतु सिरोही आकर्षण का केन्द्र है। पपीता, टमाटर, सौंफ, अरण्डी, मुंगफली एवं रायडा की फसल उत्पादन में अग्रणी, डेयरी एवं खाद्य प्रसंस्करण आधारित उद्योगो की भी यहाँ अत्यधिक सम्भावनाएं हैं। माउण्ट आबू राज्य का एक मात्र हिल स्टेशन होने के कारण स्थानीय एवं विदेशी पर्यटकों के लिए आर्कषण का केन्द्र है जो पर्यटन के क्षेत्र में होटल व्यवसाय के लिए उत्तम स्थान है। उन्होने कहा कि उद्योग हित में संचालित प्रमुख योजनाओ की विशेषताए राजस्थान निवेश प्रोत्साहन योजना 2019, 75ः पुनर्भरण/अनुदान, 75ः रोजगार सृजन पुनर्भरण/अनुदान, (100ः स्टाम्प ड्यूटी, भू-सम्परिवर्तन, विद्युत कर, भूमि-कर एवं मण्डी शुल्क में छूट,निवेश अनुदान तथा ब्याज अनुदान, देय है। मुख्यमंत्री लघु उद्योग प्रोत्साहन योजना, एमएसएमई अधिनियम 2019 उद्यमों को प्रारम्भिक 3 वर्षो में राज्य के विभिन्न नियमों के अधीन दी जाने वाली स्वीकृतियों एवं संबधित निरीक्षणों से मुक्त रखने का प्रावधान है। जिलें मे रीको के 14 औद्योगिक क्षेत्र है इनमें से 4 रीको ओैद्योगिक क्षेत्र विकसित किये जा रहे है। इन औ. क्षेत्र मे यदि दृष्टि डाले तो 2108 औ. क्षेत्र भूखण्डो का नियोजन किया गया, तथा जिसमें सेे 1858 भूखण्डो का अबतक आवंटन नियमानुसार किया जा चूका है। जिले के औद्योगिक परिदृश्य में यहां 9 मध्यम एवं वृहद औद्योगिक तथा सूक्ष्म एवं लघु उद्योग की 9845 इकाईयां पंजीकृत है जिसमें कुल 3910 करोड का निवेश एवं उसमे कुल 52851 श्रमिक कार्यरत है।
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उद्योग एवं वाणिज्य विभाग के अतिरिक्त निदेशक वाई.एन. माथुर ने सभी का आभार ज्ञापित करते हुए कहा कि इस समारोह मे राशि 575.042 करोड के 40 एमओयू पर हस्ताक्षर किये समारोह का शुभारम्भ दीप प्रज्ज्वलित कर किया गया।
इस मौके पर आबूरोड व पिण्डवाडा के प्रधान व नगरपालिका अध्यक्ष, जिला परिषद सदस्य समेत जिले भर के उद्यमीयो ने भाग लिया। कोविड प्रबंधन एवं विकास कार्यो की समीक्षा की , प्रभारी मंत्री एवं राजस्थान विधानसभा के उप मुख्य सचेतक महेन्द्र चौधरी ने आबूरोड के सन होटल एण्ड रिसोर्ट के हाॅल मे जनप्रतिनिधियों एवं प्रशासनिक अधिकारियों के साथ कोविड प्रबंधन एवं विकास कार्यो की समीक्षा की तथा संबंधित अधिकारियों को आवश्यक निर्देश दिये।