आबूरोड़। आखिर प्रशासन एवं सामाजिक कार्यकर्ताओं ने त्वरित कार्यवाही कर बचा ली दंपति की जिंदगी।
आबूरोड से बहने वाली बनास नदी मे फंसे पति-पत्नि ने अपनी जिंदगी बचाने के लिये बबूल के पेड़ का लिया सहारा।
दंपति के नदी में फंसे होने की सुचना मिलने पर तत्काल पहुंचा प्रशासन,इस दौरान तहसीलदार, पालिकाध्यक्ष मगनदान चारण एवं शहर थानाधिकारी डटे रहे मौके पर।
आबूरोड के लुनियापुरा के बहादुर कहार गोताखोरो की टीम ने अपनी जान पर खेलकर दम्पती को निकाला सकुशल बहार।
यह घटना जूनी खराड़ी निवासीे ताराचंद भील व उनकी पत्नि गीता देवी के साथ घटित हुई थी।
इस दौरान तत्काल सहयोग करने वाले गोताखोरों का पुलिस प्रशासन व पालिकाध्यक्ष द्वारा सम्मान भी किया गया।
बनास नदी आंदेश्वर मंदिर के पीछे नदी में झोपडा बनाकर यह दंपति निवास कर रहे थे।
करीबन 6 घंटे से भी ज्यादा देर तक बबूल के पेड पर यह दम्पति बैठे रहे।
इस दौरान सबसे पहले आबूरोड नगर पालिकाध्यक्ष मगनदान चारण व पार्षद सुमित जोशी मौके पर पहुंचे थे।
इस दौरान आबूरोड़ तहसीलदार रामस्वरूप जोहर, शहरथानाधिकारी सरोज बैरवा सहित प्रशासनिक अमला रहा मौजूद रहा।
वही इस दौरान दिलीप कहार, किसन कहार, योगेश कुमार, जगदीश कहार, दिनेश कहार, पार्षद सुमित जोशी, जमादार दिलीप, तहसीलकर्मी सुखराज चारण, चंपत सिंह, श्रवण सिंह सहित लुनियापुरा कहार गोताखोरो की टीम ने दंपति को बचाने में अपना विशेष योगदान दिया।